Wednesday 9 November 2016

निमोनिया का उपचार


कारण - ठण्ड लग जाना, पसीना रुकना, शारीरिक कमजोरी आदि।

लक्षण - इस रोग में ज्वर हो जाता है साथ ही, खाँसी भी रहती है जो बढ़ती रहती है। नाड़ी की गति अनियमित, सिर-दर्द, वमन, जीभ खुश्क होना, साँस लेने में कष्ट, मृत्युभय आदि लक्षण भी रहते हैं

निमोनिया का होम्योपैथिक उपचार

एकोनाइट 30 - 2 बूंद, ब्रायोनिया 30 -2 बूंद, सल्फर 30 -1 बूंद, शुगर ऑफ मिल्क - 30 ग्रेन - इन सबको मिला लें यह तीन मात्रायें हैं इस प्रकार प्रतिदिन तीन मात्रायें देना लाभप्रद है |

लाइकोपोडियम 30 -1 बूंद, सँगुनेरिया 30 -1 बूंद, आर्सेनिक आयोड 3x - 3 ग्रेन, एक्वा - एक औंस - इनको मिला लें बदबूदार कफ आने और रोग की तीव्र दशा में उपयोगी है

ब्रायोनिया 30 - 2 बूंद, फॉस्फोरस 30 - 2 बूंद, एक्वा - एक औंस - इन्हें मिला लें यह एक मात्रा है | इस प्रकार प्रतिदिन तीन मात्रायें दें

चेलिडोनियम 30 - एक बूंद, नैट्रम सल्फ 30 - एक बूंद, जस्टीशिया अधाटोडा 3x - एक बूंद, शुगर ऑफ मिल्क - 5 ग्रेन ,यह एक मात्रा है इस प्रकार प्रतिदिन चार मात्रा देने से न्यूमोनिया में पीला-हरा कफ आना, जीभ पर पीला मैल आदि लक्षणों में लाभ होता है

फॉस्फोरस 30 -1 बूँद, सल्फर 30-1 बूंद, इपिकाक 30 - 2 बूंद, एण्टिम टार्ट 6x - 2 बूंद, सेनेगा Q - 4 बूंद, एक्वा-2 औंस - इन्हें मिला लें ये दो मात्रायें हैं। प्रतिदिन चार मात्रायें देने से लाभ होता है

फॉस्फोरस 3x - 1 बूंद, लाइकोपोडियम 30 - 2 बूंद, सल्फर 6 -1 बूंद, एसिटैनिलिडियम 1x - 3 ग्रेन, एण्टिम आर्स 2x - 2 ग्रेन, इपिकाक 3x - 2 बूंद, एक्वा-1 औस, इन्हें मिला लें यह एक मात्रा है प्रतिदिन चार बार देने से निमोनिया के लक्षणों जैसे-खुश्की, दस्त, वमन, ज्वर, दर्द आदि में लाभ होता है। 

पथ्य - रोगी को हल्का खाना दें सामान्यत: अनार, गुनगुना दूध आदि का सेवन करायें रोगी के कमरे में शुद्ध हवा आने दें लेकिन उसे ठण्ड से बचायें


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